Latest news
मुख्य सचिव ने केंद्रीय गृह मंत्री के मसूरी दौरे की तैयारियों को लेकर दिए व्यवस्थाएं पुख्ता करने के न... मुख्य सचिव ने सचिवालय में अधिकारियों व कर्मचारियों को दिलाई संविधान की शपथ सफाई व्यवस्था को केवल बिजनेस न समझे कंपनियां, लोगों के स्वास्थ्य से जुड़ा है यह विषयः डीएम राजभवन में मनाया गया संविधान दिवस प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत धौलास में 240 घरों का निर्माण कार्य प्रगति पर लैब में ड्रग, कास्मेटिक और मेडिकल डिवाइस की 2 हजार सैंपल की टेस्टिंग क्षमता; डॉ आर राजेश कुमार उत्तराखंड के देवव्रत पूरी गोस्वामी को भारत के प्रतिष्ठित इन्वेस्टीगेशन लीडरशिप अवार्ड से सम्मानित कि... टाइम्स हायर एजुकेशन इनॉगरल इंटरडिसिप्लिनरी साइंस रैंकिंग रू कीट ने भारत में चौथा सर्वश्रेष्ठ और दुनि... एफआरआई में पांच दिवसीय अल्प अवधि प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन सीएम ने संविधान दिवस की शुभकामनाएं दी

[t4b-ticker]

Wednesday, November 27, 2024
Homeउत्तराखण्डपुरोला में फिर हुआ भाईचारा कायम, हालात बिलकुल सामान्य

पुरोला में फिर हुआ भाईचारा कायम, हालात बिलकुल सामान्य

उत्तरकाशी: पुरोला में उपजे विवाद के बाद अब हालात सामान्य हो रहे हैं। बाजार में फिर से पहले जैसी चहल-पहल है। पुलिस बैरिकेड्स हट गए हैं। शहर में तैनात अतिरिक्त पुलिसकर्मी भी लौट गए हैं। तनाव के बाद मुस्लिम समुदाय के जो लोग अपने घर-दुकानें छोड़कर चले गए थे वह भी लौटने लगे हैं। अब तक 10 लोगों के परिवार लौट आए हैं।

बता दें कि पुरोला में नाबालिग को भगाने के प्रयास की घटना के बाद तनाव बढ़ गया था। हिंदू संगठनों ने महापंचायत का एलान किया तो तनाव की आंच दूसरे कस्बों तक भी पहुंची। नौगांव, बड़कोट समेत पुरोला बाजार पूरी तरह बंद रहे। पुलिस-प्रशासन हरकत में आया और धारा-144 लागू कर दी।

बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया। जगह-जगह बैरिकेड्स लगा दिए गए। जिसके बाद यह क्षेत्र पूरी तरह छावनी में बदल गया थाI हाईकोर्ट ने भी दखल दिया और आखिर में महापंचायत नहीं हुई। अब हालात सामान्य होने पर मुस्लिम समुदाय के करीब 22 लोगों ने अपनी दुकानें खोल ली हैं। वहीं पुरोला छोड़कर गए 16 परिवारों में से 10 लौट आए हैं।

वापस लौटे लोगों का कहना है कि हमें यहां पर स्थानीय लोगों ने हमेशा सहयोग किया है। नगर में जो घटना हुई उससे उपजे विवाद को देखते हुए हम लोग कुछ दिन के लिए अपने घर गए थे। अब लौटने पर हमें स्थानीय लोगों के व्यवहार में कोई परिवर्तन नजर नहीं आया। वही सहयोग और भाईचारा देखने को मिल रहा है।

मो.रईस और अशरफ का कहना है कि हमारी दो पीढ़ियां पुरोला में रह चुकी हैं। हमको यहां हमेशा प्यार और सम्मान मिला है। कस्बे में शांति व्यवस्था के बाद सोहार्द का माहौल बना हुआ है।

RELATED ARTICLES
- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments