Latest news
मुख्य सचिव ने पूंजी निवेश 2024-25 के लिए राज्य की विशेष सहायता योजना की समीक्षा की उच्च शिक्षा में 108 असिस्टेंट प्रोफेसरों को मिलेगी शीघ्र तैनातीः डा. धन सिंह रावत राज्यपाल ने हिमाचल में बागवानी और आपदा प्रबंधन के प्रयासों की जानकारी ली टीएचडीसी में स्वच्छता ही सेवा का आयोजन हिमालय और गंगा को बचाने के लिए संत समाज को आगे आना होगाः किशोर पुलिस की आंखों में धूल झोंककर दुष्कर्म का आरोपी मुकेश बोरा फरार 38 वें नेशनल गेम्स को लेकर मंत्री रेखा आर्य ने ली समीक्षा बैठक शहरी विकास और आवास विभाग में कनिष्ठ अभियंताओं की थी बड़ी कमीः अग्रवाल कनिष्ठ अभियंताओं की नियुक्ति होने से कार्यों में और तेजी आयेगीः महाराज सरकारी विभागों में भर्ती के मामले में रिकॉर्ड रच रही धामी सरकार
Friday, September 20, 2024
Homeउत्तराखण्डराशन कार्ड धरकों को जून माह से कम मिलेगा गेहूं का कोटा...

राशन कार्ड धरकों को जून माह से कम मिलेगा गेहूं का कोटा जबकि चावल मिलेंगे ज्यादा

देहरादून : केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत सितंबर तक आवंटित होने वाले उत्तराखंड के गेहूं का कोटा घटा दिया है। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के तहत अंत्योदय एवं प्राथमिक परिवारों के राशनकार्ड धारकों को अब अगले महीने से गेहूं कम और चावल ज्यादा मिलेगा।

इसके तहत प्रदेश में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के अंतर्गत 14 लाख से अधिक अंत्योदय एवं प्राथमिक परिवारों के राशनकार्ड धारकों को अगले महीने से प्रति यूनिट तीन किलो गेहूं के स्थान पर मात्र एक किलो गेहूं मिलेगा। जबकि चावल दो किलो के स्थान पर चार किलो मिलेगा।

केंद्र सरकार की ओर से कुछ राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में भी प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत आवंटित किए जाने वाले गेहूं की मात्रा को कम कर दिया गया है। खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय ने कहा है कि गेहूं के घटे हुए कोटे की भरपाई चावल से की जाएगी।

कुछ राज्यों को मुफ्त वितरण के तहत गेहूं नहीं मिलेगा। जबकि उत्तराखंड, दिल्ली, गुजरात, झारखंड, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और पश्चिम बंगाल के लिए कोटा कम कर दिया गया है। इसकी वजह गेहूं की कम खरीद होना बताया गया है। बताया गया है कि मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, गुजरात में किसानों से इस बार गेहूं की कम खरीद हुई है। इन राज्यों में किसानों को खुले बाजार में व्यापारियों से अपनी उपज के न्यूनतम समर्थन मूल्य से अधिक दाम मिले हैं। जबकि पंजाब, हरियाणा, यूपी में उत्पादन भी कम हुआ है।

RELATED ARTICLES
- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments